रिश्तों को जेबों में नहीं हुजूर दिलों में रखिये अन्य << दिल की बेताबी नहीं ठहरने ... ख़िज़ां की रुत में गुलाब ... >> रिश्तों को जेबों में नहीं हुजूर दिलों में रखियेक्योंकि वक्त से शातिर कोई जेब कतरा नहीं होता! Share on: