नजले की शिकायत है मुझे उनको है खांसी Admin इश्क मोहब्बत की शायरी, इश्क << तुम ही नहीं हो फ़कत बेक़रार... वो दुश्मन बनकर मुझे जीतने... >> नजले की शिकायत है मुझे उनको है खांसीमौसम की खराबी का आलम दोनों तरफ़ हैदेखे है शक्ल कभी जेब को मेरी यह कैसी मोहब्बत है नज़र दोनों तरफ़ hai Share on: