बैठे बैठे परेशानियाँ बढ़ गईं दिल लगाया तो तन्हाइयाँ बढ़ गईं पल-दो-पल की मुलाक़ात से क्या मिला और भी दिल की बेताबियाँ बढ़ गईं तुम को तकने का इक फ़ाएदा ये हुआ मेरी आँखों की बीनाइयाँ बढ़ गईं इक कली बाग़ में फूल क्या बन गई भँवरे आने लगे तितलियाँ बढ़ गईं अपनी औलाद जब आ गई दरमियाँ भाई की भाई से दूरियाँ बढ़ गईं बस यही सोच कर डर रहा हूँ मैं 'राज़' क्यों अज़ीज़ों की हमदर्दियाँ बढ़ गईं