धुंद को रास्ता करे कोई By Ghazal << ख़िज़्र जिस से बने उस आब-... मिरे सुख़न को अनोखे कमाल ... >> धुंद को रास्ता करे कोई हक़ किसी का अदा करे कोई मौत उस की है ज़िंदगी उस की आ के दुनिया में क्या करे कोई चाहती हूँ कि जीत जाऊँ मैं पर न हारे ख़ुदा करे कोई तोड़ दे पत्थरों से पानी को अब तो मुझ को रिहा करे कोई अब न आएगा कोई पैग़म्बर अब न ऐसी दुआ करे कोई Share on: