जब मिला यार तू अग़्यार सेती क्या मतलब गुल मयस्सर हुआ तब ख़ार सेती क्या मतलब गुल-बदन के गुल-ए-रुख़्सार का जो है बुलबुल उस कूँ नज़ारा-ए-गुलज़ार सेती क्या मतलब गर्दिश-ए-चश्म ने साक़ी की लिया होश तमाम अब मुझे ख़ाना-ए-ख़ु़म्मार सेती क्या मतलब मुझ कूँ लिखना है सिरीजन कूँ मिरे नामा-ए-सुर्ख़ नीं तो इस दीदा-ए-ख़ूँ-बार सेती क्या मतलब जिस ने 'दाऊद' नजा नंग हो दीवाना-ए-इश्क़ उस कूँ रुस्वाई-ए-संगसार सेती क्या मतलब