ये मोहब्बत अगर ज़रूरत है ये ज़रूरत भी तो मोहब्बत है मेरा भी दिल नहीं था रुकने का उस ने भी कह दिया इजाज़त है शाइ'रों की नज़र से मत देखो दुनिया दर-अस्ल ख़ूबसूरत है तुम मुझे छोड़ कर चले जाओ मेरी क़ुर्बत अगर मुसीबत है लौट आया मिरा अकेला-पन अब किसी की कहाँ ज़रूरत है 'अक्स' बेहद नसीब वाले हो तुम को मरने की भी सुहूलत है