तुम्हारे हैं कहो इक दिन कहो इक दिन कि जो कुछ भी हमारे पास है सब कुछ तुम्हारा है कहो इक दिन जिसे तुम चाँद सा कहते हो वो चेहरा तुम्हारा था सितारा सी जिन्हें कहते हो वो आँखें तुम्हारी हैं जिन्हें तुम शाख़ सी कहते हो वो बाँहें तुम्हारी हैं कबूतर तोलते हैं पर तो परवाज़ें तुम्हारी हैं जिन्हें तुम फूल सी कहते हो वो बातें तुम्हारी हैं क़यामत सी जिन्हें कहते हो रफ़्तारें तुम्हारी हैं कहो इक दिन कहो इक दिन कि जो कुछ भी हमारे पास है सब कुछ तुम्हारा है अगर सब कुछ ये मेरा है तो सब कुछ बख़्श दो इक दिन वजूद अपना मुझे दे दो मोहब्बत बख़्श दो इक दिन मिरे होंटों पे अपने होंट रख कर रूह मेरी खींच लो इक दिन