फ़ना के सामने हम क्या हमारी हस्ती क्या By Qita << ग़रीब-ख़ाने में लिल्लाह द... बस इतनी बात है सामेअ'... >> फ़ना के सामने हम क्या हमारी हस्ती क्या बराए-नाम मगर इक निशान पा ही लिया हुआ जो हम-नफ़स-ए-क़तरा बन गई दम-भर हबाब ने भी ख़ुदी का मज़ा उठा ही लिया Share on: