आह करता है तो ज़ंजीर भी रो पड़ती है By Sher << आईना-ए-हयात में बरसों से ... आ जाए कोई रंज मिटाने को क... >> आह करता है तो ज़ंजीर भी रो पड़ती है तू ने वहशी की अज़िय्यत को कहाँ देखा है Share on: