हसरतें आ आ के जम्अ हो रही हैं दिल के पास By Sher << आज तक याद है वो शाम-ए-जुद... आहन ओ संग को ज़हराब-ए-फ़न... >> हसरतें आ आ के जम्अ हो रही हैं दिल के पास कारवाँ गोया पहुँचने वाला है मंज़िल के पास Share on: