जब भी दिल खोल के रोए होंगे By Sher << मेहराब-ब-इबादत ख़म-ए-अबरू... हमारे मय-कदे में ख़ैर से ... >> जब भी दिल खोल के रोए होंगे लोग आराम से सोए होंगे Share on: