मौसम-ए-गुल तिरे सदक़े तिरी आमद के निसार By Sher << फ़िराक़ बिछड़ी हुई ख़ुशबु... एहसास मुझ को इतना भी अब त... >> मौसम-ए-गुल तिरे सदक़े तिरी आमद के निसार देख मुझ से मिरा साया भी जुदा है अब के Share on: