चाहे मानो बुरा हम नहीं मानते पत्थरों को ख़ुदा हम नहीं मानते जिस के होने न होने की तस्दीक़ हो उस ख़ुदा को ख़ुदा हम नहीं मानते मानते हैं उसे जो दिखाई न दे और कोई ख़ुदा हम नहीं मानते चाहे कितना ही मुश्किल हो जीना उसे ज़िंदगी को सज़ा हम नहीं मानते अपने आ'माल की भी है कुछ तो ख़ता सब है रब की रज़ा हम नहीं मानते हम को ख़ुद भी नहीं कुछ पता दोस्तो मानते भी हैं या हम नहीं मानते मानते हैं बुरी आदतों का बुरा ग़लतियों का बुरा हम नहीं मानते हम समझते हैं सर पर चढ़ाना बुरा प्यार का तो बुरा हम नहीं मानते मय के पीने से कितनी भी राहत मिले मय का पीना बजा हम नहीं मानते दोष दे सकते हैं अपनी तक़दीर को यार को बेवफ़ा हम नहीं मानते मान सकते हैं हम उस को इक ख़ौफ़ ही कुछ है रब से बड़ा हम नहीं मानते क्यों यही कुछ ही 'पर्वाज़' अक्सर कहो मैं नहीं मानता हम नहीं मानते