दिल की तस्कीन की दवा क्या है दोस्तों से भला छुपा क्या है इस ज़माने को क्या पता क्या है मेरे कमरे का आइना किया है ये लहू तो नहीं मिरे महबूब तेरी रग रग में दौड़ता क्या है हिज्र के दिन विसाल की रातें चाहने वाले चाहता क्या है इश्क़ तन्हाई शायरी सिगरेट और इस के सिवा बचा क्या है उन के दर से उठा तो भूल गया घर को जाने का रास्ता क्या है सर को सज्दे में रख दिया जाए इश्क़ का और तर्जुमा क्या है वो जो मशहूर कर रहा है मुझे मेरे बारे में जानता क्या है रास्ता जब न रोक पाया सितम फिर ये तलवों का आबला क्या है जिस्म दो एक हो गए कह कर आशिक़ी में तिरा मिरा क्या है रुक गए कहते कहते इस दिल में उस ने जिस वक़्त ये कहा क्या है ख़ैर अच्छा हुआ के ऐ 'हानी' वो न समझे के माजरा क्या है