ग़मों से अपने कोई शख़्स चूर होता है किसी के दिल में ख़ुशी का ग़ुरूर होता है बड़े जतन से किसी को भुला दिया हम ने बड़े जतन से ये सहरा उबूर होता है किसी की कोई दुआ भी न हो सकी पूरी किसी किसी की दुआओं में नूर होता है किसी की दूरियाँ दिल को सता सता मारें क़रीब रह के कोई शख़्स दूर होता है जहाँ में नामवरों के अज़ाब क्या कहिए ज़रा सी बात का चर्चा ज़रूर होता है