मुझ को ज़िंदगानी से तल्ख़ियाँ नहीं होतीं हाथ में अगर मेरे डिग्रियाँ नहीं होतीं बाग़बाँ ने ख़ुद अपना ए'तिबार खो डाला इस लिए बग़ीचे में तितलियाँ नहीं होतीं हर ग़रीब में उन को ख़ामियाँ नज़र आईं बस अमीर लोगों में ख़ामियाँ नहीं होतीं ज़ख़्म के लिए आख़िर इक ज़बान काफ़ी है हर किसी के हाथों में बर्छियाँ नहीं होतीं बद-दुआओं से बच कर आदमी रहे वर्ना मुफ़लिसों की आहों में सिसकियाँ नहीं होतीं क्या पता उन्हें कैसे जन्म दिन मनाते हैं जिन घरों में खाने को रोटियाँ नहीं होतीं ख़ुश-नसीब हैं जिन को रहमतें मिलीं 'रौनक़' हर किसी की क़िस्मत में बेटियाँ नहीं होतीं