पहले पैदल पैदल जाया करते थे फिर दोनों इक बस में बैठा करते थे वो ज़ुल्फ़ों को पीछे करती रहती थी फिर भी उस के गेसू बिखरा करते थे वो अव्वल थी पढ़ने-लिखने में और हम पीछे सब से पीछे बैठा करते थे नाम पुकारा जाता था जब उस का तो यस-सर यस-सर हम भी बोला करते थे दुहरे काम की आदत बचपन से ही थी उस की कॉपी भी हम लिक्खा करते थे उस की नज़रें रहती थीं बस टीचर पर हम तो केवल उस को देखा करते थे