तू मिरी जुस्तुजू मुसलसल है शामिल-ए-गुफ़्तुगू मुसलसल है मुझ पे तारी ख़ुमार की घड़ियाँ तू मिरे रू-ब-रू मुसलसल है ज़र्रा ज़र्रा गवाही देता है जा-ब-जा तू ही तू मुसलसल है इश्क़ मुझ को उड़ाए फिरता है चाकरी कू-ब-कू मुसलसल है इक मोअ'त्तर फ़ज़ा रची मुझ में बस गया मुझ में तू मुसलसल है वज्द तारी 'उरूसा' साँसों पर शश-जिहत हू ही हू मुसलसल है