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बिछड़ के 'इश्क़ में जीना मुहाल है कि नहीं
बिछड़ के 'इश्क़ में जीना मुहाल है कि नहीं ...
बिछड़ कर तुझ से ऐ जान-ए-जिगर अच्छा नहीं लगता
बिछड़ कर तुझ से ऐ जान-ए-जिगर अच्छा नहीं लगता ...
वो बेवफ़ा भी हो तो क्या ये ऐसी भी ख़ता नहीं
वो बेवफ़ा भी हो तो क्या ये ऐसी भी ख़ता नहीं ...
उन लम्हों को गुज़रे भी अब एक ज़माना बीत गया
उन लम्हों को गुज़रे भी अब एक ज़माना बीत गया ...
चली मस्तानों की टोली कि अब मौसम बदलता है
चली मस्तानों की टोली कि अब मौसम बदलता है ...
तो क्या ये तय है कि अब 'उम्र भर नहीं मिलना
तो क्या ये तय है कि अब 'उम्र भर नहीं मिलना ...